What is HIGHER EDUCATION

उच्च शिक्षा (higher education) उच्च शिक्षा का अर्थ है सामान्य रूप से सबको दी जानेवाली शिक्षा से ऊपर किसी विशेष विषय या विषयों में विशेष, विशद तथा शूक्ष्म शिक्षा। यह शिक्षा के उस स्तर का नाम है जो विश्वविद्यालयों, व्यावसायिक विश्वविद्यालयों, कम्युनिटी महाविद्यालयों, लिबरल आर्ट कालेजों एवं प्रौद्योगिकी संस्थानों आदि के द्वारा दी जाती है। प्राथमिक एवं माध्यमिक के बाद यह शिक्षा का तृतीय स्तर है जो प्राय: ऐच्छिक (non-compulsory) होता है। इसके अन्तर्गत स्नातक, परास्नातक (postgraduate education) एवं व्यावसायिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण आदि आते हैं।यह स्नातक स्तर का कोर्स है। इसे बैचलर ऑफ आर्ट कहते हैं। यह 12वीं के बाद किया जाता है। कला वर्ग के छात्र छात्राएं BA करते हैं। इसे भूगोल, हिंदी, संस्कृत, इंग्लिश, समाजशास्त्र, इतिहास, नागरिक शास्त्र, अर्थशास्त्र जैसे किसी भी कला विषय से कर सकते हैं। भारत में सरकारी नौकरियां प्राप्त करने के लिए स्नातक होना आवश्यक होता है।


यह स्नातक स्तर का कोर्स है। इसे वाणिज्य (कॉमर्स) से पढ़ाई करने वाले स्टूडेंट्स करते हैं। इस कोर्स में वाणिज्य शास्त्र से संबंधित बातें बताई जाती हैं। इसमें फाइनेंशियल अकाउंटिंग, कॉस्ट अकाउंटिंग जैसे विषय होते हैं।

बी टेक (Bachelor of Technology)

यह कोर्स स्नातक स्तर का है। आजकल बहुत से छात्र यह कोर्स कर रहे हैं क्योंकि इससे नौकरी मिलने की संभावना बहुत अधिक बढ़ जाती है। विज्ञान और तकनीक में पढ़ाई करने के लिए यह कोर्स किया जाता है। यह कोर्स 4 साल का होता है।

एमबीबीएस MBBS ( Bachelor of Medicine and Bachelor of Surgery)ज छात्र छात्राएं डॉक्टरी की पढ़ाई करना चाहते हैं वे यह कोर्स करते हैं। यह कोर्स स्नातक स्तर का है। इस कोर्स की अवधि 6 वर्ष की होती है।

परस्नातक स्तर के कोर्स courses on Post Graduation level

एम ए (Master of Arts)

यह कोर्स परस्नातक या मास्टर लेवल का होता है। यह 2 वर्ष का कोर्स है। इसे करने के बाद नौकरी मिलने की संभावना और अधिक हो जाती है। कला वर्ग के सभी विषयों से MA कर सकते हैं।

एम एस सी (Master of Science)

यह कोर्स परस्नातक या मास्टर लेवल का होता है। यह 2 वर्ष का कोर्स है। इसे करने के बाद नौकरी मिलने की संभावना और अधिक हो जाती है। विज्ञान वर्ग के सभी विषयों से M.Sc. कर सकते हैं।

एम कॉम (Master of Commerce)

यह कोर्स परस्नातक या मास्टर लेवल का होता है। यह 2 वर्ष का कोर्स है। इसे करने के बाद नौकरी मिलने की संभावना और अधिक हो जाती है। वाणिज्य वर्ग के सभी विषयों से M। Com। कर सकते हैं

एम टेक ( Master of Technology)

यह कोर्स परस्नातक या मास्टर लेवल का होता है। यह 2 वर्ष का कोर्स है। इसे करने के बाद नौकरी मिलने की संभावना और अधिक हो जाती है। विज्ञान वर्ग के सभी विषयों से M.Tech. कर सकते हैं.

एम बी ए MBA (Master of Business Administration)

जो स्टूडेंट मैनेजमेंट (प्रबन्धन) से पढ़ाई करना चाहते हैं वे यह कोर्स करते हैं। यह कोर्स 2 वर्ष का होता है। इसे करने के बाद व्यक्ति को मैनेजर के रूप में नौकरी मिल जाती है।

पी ऐच डी PhD (Doctor of Philosophy)

यह डॉक्टरेट स्तर का कोर्स है। इसे पीएचडी, डी फिल कह कर भी पुकारा जाता है। यह कोर्स करने के बाद व्यक्ति अपने नाम के आगे डॉक्टर शब्द का इस्तेमाल कर सकता है। विश्वविद्यालय कॉलेज में प्रोफेसर बनने के लिए यह डिग्री आवश्यक होती है।   

भारत में उच्च शिक्षा के कुछ प्रमुख कॉलेज संस्थान यूनिवर्सिटी  Some major colleges / universities in India to get Higher Level Education

·        दिल्ली यूनिवर्सिटी

·        आईआईटी (Indian Institute of Technology )

·        आई आई एम (Indian Institute of Management)

·        ऐम्स (All India Institute of Medical Sciences New Delhi)

·        हैदराबाद यूनिवर्सिटी

·        जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, नई दिल्ली

·        कोलकाता विश्वविद्यालय

·        जादवपुर विश्वविद्यालय

·        मुंबई विश्वविद्यालय

·        बनारस हिंदू विश्वविद्यालय

·        बिरला इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी एंड साइंस पिलानी

उच्च शिक्षा के फायदे Advantages of Higher Level Education

बेहतर नौकरी मिलती है

हमारे देश में अधिकतर लोग जो उच्च शिक्षा लेते हैं उनका पहला लक्ष्य बेहतर नौकरी पाना होता है। साधारण स्नातक लोगों की तुलना में उच्च शिक्षित अभ्यर्थियों को अधिक महत्व दिया जाता है। नौकरियों में प्राथमिकता दी जाती है।

खुद का बिजनेस स्थापित करना

उच्च शिक्षा लेने का एक बड़ा कारण यह भी है कि कुछ लोग खुद का बिजनेस स्थापित करना चाहते हैं। इसलिए भी वे उच्च शिक्षा प्राप्त करते हैं। देश में कई इंजीनियर खुद की अपनी फैक्ट्री लगा देते हैं। कॉमर्स से पढ़ने वाले बहुत से स्टूडेंट्स अपनी खुद की फर्म खोल लेते हैं। डॉक्टरी की पढ़ाई करने वाले बहुत से डाक्टर अपना खुद का निजी अस्पताल खोल देते हैं।

बेहतर जीवन स्तर

उच्च शिक्षा पाने के बाद जब व्यक्ति को अच्छी नौकरी मिलती है तो उसका जीवन स्तर भी उच्च होता है। अपने बच्चों को अच्छे संस्कार, शिक्षा, वातावरण दे पाता है। अपने घर की सभी जरूरतों को पूरा कर पाता है।

समाज में योगदान

उच्च शिक्षा पाने के बाद व्यक्ति बुद्धिजीवी बन जाता है और समाज में योगदान दे पाता है।

दूसरे लोगों को रोजगार मिलता है

उच्च शिक्षा प्राप्त करने के बाद जब कोई व्यक्ति अपना खुद का व्यवसाय स्थापित करता है तो दूसरे लोगों को भी रोजगार देता है। इससे देश में रोजगार की समस्या दूर होती है।

व्यक्ति की सोच का दायरा बढ़ता है

उच्च शिक्षा पाने से व्यक्ति की सोच का दायरा बढ़ता है। वह दूर दृष्टि प्राप्त कर पाता है। भविष्य के लिए नीतियां बना पाता है। इसके साथ ही वह देश के हित में भी अच्छी नीतियां बनाता है जिससे समस्याओं को खत्म करके देश को विकास के रास्ते पर लाया जा सके।

महिलाओं का सशक्तिकरण

उच्च शिक्षा पाने से महिलाएं सशक्त होती हैं। वे दूसरी महिलाओं के लिए प्रेरणा बनती हैं। इसके साथ ही दूसरी महिलाओं को रोजगार देकर बेरोजगारी की समस्या को दूर करती हैं। उच्च शिक्षा पाने के बाद महिलाओं का स्तर साधारण महिलाओं से अधिक बढ़ जाता है। वह अच्छे बुरे में फर्क कर पाती है।

परिचय एवं उद्देश्‍य:

            विद्यार्थी के व्यक्तित्व का बहुआयामी विकास सुनिश्चित करते हुए उसे लक्ष्य तक पहुंचने हेतु काबिल बनाना तथा उसके अन्तर्मन में मानवीय गुणों को विकसित करना उच्च शिक्षा का उद्देश्य है। हमारे महाविद्यालय एवं विश्वविद्यालय शिक्षा के प्रकाश स्तम्भ हैंजिसका प्रकाश विद्यार्थियों के माध्यम से सम्पूर्ण समाज और संसार में फैलता है। विद्यार्थी के अन्तर्मन में जीवन मूल्यों का निर्माण शिक्षा के इन्हीं मंदिरों में होता है। मध्यप्रदेश शासन, उच्च शिक्षा विभाग निरन्तर इस दिशा में प्रयासरत है। विगत वर्षो में, शिक्षण संस्थाओं की संख्यात्मक अभिवृद्धिगुणवत्तामूलक शिक्षण एवं विद्यार्थियों की बहुआयामी उपलब्धियाँ इस बात का प्रत्यक्ष प्रमाण है कि उच्च शिक्षा विभाग अपने लक्ष्य की प्राप्ति में निरंतर अग्रसर है।

          मध्यप्रदेश शासन उच्च शिक्षा विभाग निरन्तर प्रयत्नशील है कि शिक्षण संस्थाओं में अध्‍ययनरत युवा शारीरिकमानसिक एवं आत्मिक रूप से सशक्त होंऊर्जावान हों, इसके साथ ही इन युवाओं में सांस्कृतिकसामाजिकनैतिक प्रतिबद्धता मूल्यबोध एवं संस्कार विकसित हों और वे संवेदनशील भी हों ताकि ये युवा अध्ययनोपरान्त जब समाज में जायें तब अपना श्रेष्ठतम योगदान देते हुए मानवता की सेवा कर सकें।

          महाविद्यालयों के कलाविज्ञान एवं वाणिज्य आदि संकायों में शिक्षण व्यवस्था शासन की विभिन्‍न योजनाओं के माध्यम से सशक्त हुई है। विश्‍व बैंक एवं रुसा परियोजना, एमबैसेडर प्राध्‍यापक योजना, स्‍मार्ट शिक्षण व्‍यवस्‍था, वर्चुअल कक्षा परियोजना, रेमेडियल कक्षाएं, कौशल विकास इत्‍यादि विभिन्न नवाचारों के माध्यम से शिक्षण व्यवस्था प्रभावशाली हुई है।

 

विभाग के दायित्व:

  •  महाविद्यालयों एवं विश्वविद्यालयों में आवश्यक मूलभूत अधोसंरचना तैयार करनाभौतिक एवं वित्तीय संसाधन उपलब्ध करानापदों की पूर्ति करना.
  • अध्ययन-अध्यापन की गुणवत्ता सुनिश्चित करनामहाविद्यालयों में अकादमिक एवं शोध कार्य को प्रोत्साहित करना.
  • आदिवासी एवं सुदूर ग्रामीण क्षेत्रों में उच्च शिक्षा को बढ़ावा देना.
  • परम्परागत विषयों/पाठ्यक्रमों के साथ-साथ स्थानीय मांग एवं उपयोगिता के अनुसार नए रोज़गारोन्मुखी पाठ्यक्रम प्रारम्भ करना.
  • महाविद्यालयों एवं विश्वविद्यालयों में शैक्षणिक गतिविधियों के साथ-साथ खेलकूदसांस्कृतिकसाहित्यिक एवं नैतिक शिक्षा से सम्बन्धित गतिविधियों को प्रोत्साहित करनाउनका विस्तार तथा विकास करना.
  • महाविद्यालयों को अकादमिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्‍य से स्वशासी महाविद्यालयों की अवधारणा को बढ़ावा देना.
  • महाविद्यालयों को आर्थिक रूप से सुदृढ़ बनाने एवं उनके विकास हेतु जनभागीदारी को सुनिश्चित करना.
  • राष्ट्रीय सेवा योजना तथा राष्ट्रीय कैडेट कोर की इकाइयों की महाविद्यालयों में स्थापना तथा उनका संचालन.
  • महाविद्यालयों एवं विश्वविद्यालय को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के मापदण्डों के अनुरूप बनाना तथा राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद् के द्वारा उनका मूल्यांकन कराना.
  • राष्ट्रीय विश्वविद्यालय इग्नू के स्वरोज़गार/व्यवसायोन्मुखी प्रशिक्षण कार्यक्रमों का महाविद्यालयों में संचालन.
  • मुक्त विश्वविद्यालय के माध्यम से दूरवर्ती शिक्षा को बढ़ावा देना. 
  • समस्त विश्वविद्यालयों एवं महाविद्यालयों (चिकित्सापशु-चिकित्साइंजीनियरिंगतकनीकी तथा कृषि महाविद्यालयों को छोड़कर) का संचालनगुणवत्ता की समीक्षा एवं उन्हें वित्तीय संसाधन उपलब्ध कराना.
  • समस्त संकायों में स्नातकस्नातकोत्तर अध्ययन तथा शोध कार्य हेतु नीति का निर्धारणक्रियान्वयनसमीक्षा तथा उचित परिवर्तन/संशोधन करना.
  • खेलकूद एवं शारीरिक शिक्षा सम्बन्धी नीति निर्धारण तथा क्रियान्वयन। महाविद्यालयों में पुस्तकालय तथा पुस्तक बैंक की व्यवस्था सुनिश्चित करना.
  • विश्वविद्यालय समन्वय समिति के निर्णयों का क्रियान्वयन करना.
  • महाविद्यालय तथा विश्वविद्यालय में मौलिक शोध कार्य को प्रोत्साहन प्रदान करना.
  • छात्रवृत्तियाँ तथा अध्येतावृत्तियाँ स्वीकृत करना.
  • निजी एवं अशासकीय महाविद्यालयों तथा विश्वविद्यालयों के द्वारा शिक्षा की गुणवत्ता बनाये रखने के लिए नीति निर्धारण.


Higher Education: उच्च शिक्षा पूरी करने के लिए ये शहर हैं सर्वश्रेष्ठ

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Published: 18 Sep 2019, 11:40 AM IST

Higher Education : देश में उच्च शैक्षणिक संस्थानों में प्रवेश लेने के लिए अक्सर प्रत्येक युवा हरसंभव प्रयास करता है। शैक्षणिक संस्थान के साथ ही उपयुक्त शहर और सुविधाओं को भी ध्यान में रखा जाता है। उच्च शिक्षा के लिए देश के बेस्ट शहरों...

Higher Education In India : देश में उच्च शिक्षा और बेहतर शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं। राज्य सरकारें भी इसके लिए बजट में अलग से राशि अलॉट करती है। केंद्र और राज्य की मदद के साथ ही कुछ शहर शिक्षा के क्षेत्र में तेजी से आगे बढे हैं। इन शहरों में बाहरी राज्यों के साथ विदेशों से पढ़ने के लिए विद्यार्थी आ रहे हैं। एजुकेशन हब बनने के बाद यहां कॉम्पीटीशन भी कड़ा हो गया है। एक के बाद एक बड़े इंस्टिट्यूट खुलते जा रहे हैं। ऐसे में इन शहरों को विदेशों में भी पहचान मिली है। प्रत्येक विद्यार्थी भारत के सर्वश्रेष्ठ विश्वविद्यालयों में पढ़ने के बारे में ज़रूर सोचता है। अपने सपने को साकार करने का सबसे आसान तरीका है कि आप सबसे पहले उन शहरों के विषय में जाने जहाँ आपके करियर और ऊंचाई मिल सकें।

गौरतलब है कि भारत में प्रत्येक वर्ष आईआईटी और इंजीनियरिंग में प्रवेश लेने वाले छात्रों में से 60% छात्र केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) से संबद्ध स्कूलों के होते हैं। विद्यार्थियों को पढाई के साथ ही बुनियादी सुविधाएं, फीस, स्थान, सुरक्षा ये सभी महत्वपूर्ण हो जाते हैं। मेडिकल की पढ़ाई हो या मैनेजमेंट की, सभी के लिए अच्छा एजुकेशन इंस्टिट्यूट और शहर होना जरुरी है। आइए आज हम आपको ऐसे कुछ शहरों के बारे में बता रहे हैं, जो हायर एजुकेशन के लिए सर्वश्रेष्ठ हैं।

1. बैंगलोरः

बैंगलोर देश के कई शैक्षणिक एवं अनुसंधान संस्थानों का केंद्र है और स्किल डवलपमेंट की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान ऐडा करता है। बैंगलोर को भारत के एजुकेशन हब में से प्रमुख माना जाता है। बैंगलोर विश्वविद्यालय 500 से भी अधिक कॉलेजों को संबद्धता (Affiliation) प्रदान करता है और विश्वविद्यालय में 300,000 से भी अधिक विद्यार्थी दाखिला लेते हैं। विद्यार्थियों के लिए दुनिया के सबसे अच्छे शहर के लिए इस महीने की शुरुआत में लंदन स्थित हायर एजुकेशन थिंक टैंक द्वारा जारी किए गए Quacquarelli Symonds (QS) Best Student Cities 2019 के सर्वे के अनुसार, बेंगलुरु टॉप 100 में केवल दो भारतीय शहरों में से एक है।

बेंगलुरू सूची में पहले स्थान पर है और दूसरे पर मुंबई। अच्छे शैक्षणिक संस्थानों के साथ एक शहर के रूप में बेंगलुरू पहली बार 81 वें स्थान पर है। एक ऐसी जगह जहाँ आप कम से कम 150 रूपए में एक सस्ता भोजन प्राप्त कर सकते हैं, सस्ती सार्वजनिक परिवहन सेवा, और आवास सुविधा भी सस्ती दर पर मिल जाती है।

बैंगलोर का सबसे मजबूत सूट भारत की सिलिकॉन वैली के रूप में इसकी धारणा है।" यहां बड़े अनुसंधान संस्थान भी मदद करते हैं - भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) और भारतीय विज्ञान संस्थान (IISc) यहां आधारित हैं, और शहर नेशनल लॉ स्कूल (NLS), नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी (निफ्ट) और आईआईएम जैसे प्रसिद्ध संस्थानों की शाखाओं में पढ़ने की चाह भी विद्यार्थियों की आकर्षित करती है। इसके अलावा, कई नौकरी के अवसर और इंटर्नशिप की संभावनाएं जैसे कि विश्व प्रसिद्ध कंपनियों जैसे कि एक्सेंचर, विप्रो, टीसीएस, आईबीएम और ओरेकल में मिल जाती है।

प्रमुख संस्थान

जैन विश्वविद्यालय, इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस, नेशनल सेंटर फॉर बायोलॉजिकल साइंसेज (एनसीबीएस), जवाहर लाल नेहरू सेंटर फॉर एडवांस्ड साइंटिफिक रिसर्च (जेएनसीएएसआर) और रमन रिसर्च इंस्टीट्यूट). ये संस्थान भारत में वैज्ञानिक अनुसंधान के प्रमुख संस्थान हैं.

राष्ट्रीय स्तर पर पेशेवर संस्थान हैं– यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चरल साइंसेस, बैंगलोर (यूएएसबी), नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन (एनआईडी), नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी (निफ्ट), नेशनल लॉ स्कूल ऑफ इंडिया यूनिवर्सिटी (एनएलएसआईयू), इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, बैंगलोर (आईआईएम– बी), आईसीएआर– नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एनिमल न्यूट्रीशन एंड फिजियोलॉजी (एनआईएएनपी), इंडियन स्टैटिस्टिकल इंस्टीट्यूट और इंटरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, बैंगलोर (आईआईआईटी–बी).

इस शहर में प्रमुख मानसिक स्वास्थ्य संस्थान भारतीय राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य एवं तंत्रिका विज्ञान संस्थान (एनआईएमएचएएनएस– निमहंस) भी है. बैंगलोर में देश के कुछ सर्वश्रेष्ठ मेडिकल कॉलेज भी हैं जैसे सेंट. जॉन्स मेडिकल कॉलेज (एसजेएमसी) और बैंगलोर मेडिकल कॉलेज एंड रिसर्च इंस्टीट्यूट (बीएमसीआरआई) आदि .

2. मुंबई

मुंबई को सिटी ऑफ एक्सट्रीम्स कहा जाता है और हर मामले में यह शहर अवसरों से भरा है। कुछ लोगों के लिए मुंबई की तेज रफ्तार जिंदगी डरावनी हो सकती है लेकिन एक विद्यार्थी के लिए इस शहर में अवसरों की कोई कमी नहीं है। यदि आप कला, विज्ञान या वाणिज्य की पढ़ाई की योजना बना रहे हैं तो यह शहर आपको कई अच्छे विकल्प प्रदान करता है। मुंबई को फिल्म इंडस्ट्री का हृदय कहा जाता है इसलिए मास मीडिया के पाठ्यक्रम में दाखिला लेना अच्छा विकल्प हो सकता है. शहर में कई मीडिया और एंटरटेनमेंट कंपनियां हैं जो कई प्रकार की नौकरियां देती हैं और इंटर्नशिप कराती हैं। लंदन स्थित हायर एजुकेशन थिंक टैंक द्वारा जारी किए गए Quacquarelli Symonds (QS) Best Student Cities 2019 के सर्वे के अनुसार, मुंबई 85वें नंबर पर है, जो कि पिछले साल की रैंकिंग में # 99 से ऊपर है। इस रैंकिंग में मुंबई केवल दो भारतीय शहरों में से एक है। मुंबई, विद्यार्थियों के लिए रहने सहित सभी सुविधाओं में अन्य शहरों की तुलना में महंगा है।

मुंबई विश्वविद्यालय देश के प्रमुख विश्वविद्यालयों में से एक है. इस शहर में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान– आईआईटी भी है. यह पवई में स्थित है और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अकादमिक (एकेडमिक) उत्कृष्टता एवं अनुसंधान के लिए विश्वविख्यात है. मुंबई का ग्रांट मेडिकल कॉलेज लगातार कई वर्षों से देश के शीर्ष 10 मेडिकल कॉलेजों की सूची में बना हुआ है. यहां टाटा सामाजिक विज्ञान संस्थान (टीआईएसएस) भी है जो सामाजिक कल्याण के क्षेत्र में अपने उन्नत अनुसंधान कार्य के लिए जाना जाता है। प्रतिष्ठित सेंट. जेवियर्स कॉलेज को अब स्वायत्तता मिल चुकी है। सेंट. जेवियर्स मल्हार और आईआईटी पवई का मूड इंडिगो एवं सोफिया कॉलेज के केलाईडोस्कोप जैसे कार्यक्रमों में बड़ी संख्या में लोग शामिल होते हैं।

प्रमुख संस्थान
सेंट. जेवियर्स कॉलेज, आईआईटी बॉम्बे, केजी सोमैया कॉलेज, मिठीबाई कॉलेज, विल्सन कॉलेज, एल्फिंस्टन कॉलेज, सोफिया कॉलेज फॉर वुमेन आदि

3. दिल्ली
दिल्ली देश के बेहतरीन उच्च शिक्षण संस्थानों का केंद्र है। दिल्ली विश्वविद्यालय देश का एक प्रमुख विश्वविद्यालय है और देश के अलग– अलग हिस्सों से प्रत्येक वर्ष बड़ी संख्या में विद्यार्थी इस विश्वविद्यालय में पढ़ाई करने आते हैं। यहां के विद्यार्थियों ने राजनीति, कला एवं संस्कृति, प्रशासन, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी जैसे अलग– अलग क्षेत्रों में अपनी पहचान बनाई है। आईआईटी और जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) बेहतरीन विश्वविद्यालयों में से एक हैं, सिर्फ इसलिए नहीं कि ये देश के सर्वश्रेष्ठ संस्थानों में से हैं बल्कि इसलिए भी क्योंकि इन्होंने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बनाई है। जेएनयू मानविकी के पाठ्यक्रम के लिए विशेष रूप से जाना जाता है। कादमिक(एकेडमिक) उत्कृष्टता के लिए दो विश्वविद्यालय प्रसिद्ध हैं– जामिया मिलिया इस्लामिया और इंद्रप्रस्थ विश्वविद्यालय। दिल्ली में सुरक्षा एक बड़ी चिंता बनी रही है। विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा के लिए आकर्षित करती है लेकिन सुरक्षा के कारणों से विद्यार्थी यहां जाने से थोड़ा हिचकिचाते हैं। Quacquarelli Symonds (QS) Best Student Cities 2019 के सर्वे के अनुसार, दिल्ली 113वें नंबर पर है।

कुछ प्रमुख संस्थान हैं–
आईआईटी दिल्ली, एम्स, मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज, लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज, नेताजी सुभाष इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, सेंट. स्टीफेंस कॉलेज, हिन्दू कॉलेज, श्री राम कॉलेज ऑफ कॉमर्स, लेडी श्री राम कॉलेज।

4. चेन्नई
दक्षिण भारत का चेन्नई शहर तकनीकी शिक्षा के लिए प्रसिद्ध है लेकिन यहां विद्यार्थी अन्य विषयों की पढ़ाई के लिए भी जाते हैं। आईआईटी को छोड़कर कई कॉलेजों में महाराष्ट्र,दिल्ली और पश्चिम बंगाल और अन्य राज्यों से आए विद्यार्थी भी देखने को मिलते हैं। 165 वर्ष पुराना मद्रास विश्वविद्यालय अपने कुछ विशेष पाठ्यक्रमों के लिए जाना जाता है। नोबल पुरस्कार विजेता सी. वी. रमण और एस. चंद्रशेखर ने भी यहीं से पढ़ाई की थी। विश्वविद्यालय में 300 करोड़ रुपए मूल्य के उपकरण और सुविधाएं मौजूद हैं। शहर के शिक्षाविदों का कहना है कि पुस्तकालय और अनुसंधान कार्य के लिए विद्यार्थियों को कहीं और जाने की जरूरत नहीं है। दाखिले की प्रक्रिया पारदर्शी है और पाठ्यक्रम का शिक्षण शुल्क बेहद किफायती है। आईआईटी मद्रास, विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में उच्च गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए प्रख्यात संस्थान है। Quacquarelli Symonds (QS) Best Student Cities 2019 के सर्वे के अनुसार, चेन्नई 117वें नंबर पर है। यहां पर बोलचाल की भाषा ही विद्यार्थियों के सामने सबसे बड़ी समस्या के तौर पर आती है।

प्रमुख संस्थान
लोएला कॉलेज, प्रेसीडेंसी कॉलेज, स्टेला मॉरिस कॉलेज फॉर वुमेन, एशियन कॉलेज ऑफ जर्नलिज्म, इतिराज कॉलेज, आईआईटी मद्रास, मद्रास मेडिकल कॉलेज आदि

5. पुणे
पंडित जवाहरलाल नेहरू ने इस शहर को पूर्व का ऑक्सफोर्ड नाम दिया था। इस शहर में दुनियाभर से विद्यार्थी पढ़ाई तथा नौकरी की तलाश में आते हैं। भारत में पुणे, जापानी भाषा सीखने का सबसे बड़ा केंद्र है, अब यहां सभी प्रमुख देशों की भाषाएं सिखने के लिए देशभर से विद्यार्थी आते हैं। जापानी भाषा के शिक्षकों के प्रशिक्षण एवं भर्ती का भी यह प्रमुख केंद्र है। पुणे विश्वविद्यालय देश का दूसरा सबसे बड़ा विश्वविद्यालय (कॉलेजों की कुलसंख्या के आधार पर) है और इस विश्वविद्यालय में पढ़ने के लिए दुनिया भर से विद्यार्थी आते हैं।

प्रमुख संस्थान
वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (CSIR), यहाँ स्थित राष्ट्रीय रसायन प्रयोगशाला(NCL), इंटरसब्जेक्ट अनुसंधान केंद्र है जिसमें अनुसंधान उच्च स्तर पर किये जा सकते हैं। यह पॉलिमर विज्ञान, जैविक रसायनशास्त्र, उत्प्रेरण एवं सामग्री रसायनशास्त्र में उपाधि प्रदान करता है।देश का सबसे प्रसिद्द फिल्म स्कूल– भारतीय फिल्म एवं टेलिविजन संस्थान (FTII) पुणे में ही है।

अन्य प्रमुख संस्थान हैं– इंटर– यूनिवर्सिटी सेंटर फॉर एस्ट्रोनॉमी एंड एस्ट्रोफिजिक्स, नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वीरोलॉजी, इंडियन इंस्टीट्यूट फॉर साइंस एजुकेशन एंड रिसर्च, नेशनल एड्स रिसर्च इंस्टीट्यूट, नेशनल सेंटर फॉर सेल साइंस– ये कुछ अनुसंधान संस्थान हैं जो जीव विज्ञान के क्षेत्र में रिसर्च के लिए जाना जाता है। सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ एडवांस्ड कंप्यूटिंग (सी– डैक) भारत के सबसे शक्तिशाली सुपरकंप्यूटरों– परम और पद्म का संचालन करता है। सिंबायोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी शहर में 33 कॉलेजों और संस्थानों का संचालन करती है।

रक्षा बलों के लिए समर्पित कई उत्कृष्ट शिक्षण संस्थान
• राष्ट्रीय रक्षा अकादमी– एनडीए,
• डिफेंस इंस्टीट्यूट ऑफ आर्मामेंट टेक्नोलॉजी (डीआईएटी)
• आर्म्ड फोर्सेस मेडिकल कॉलेज (एएफएमसी)
• कॉलेज ऑफ मिलिट्री इंजीनियरिंग (सीएमई), दापोली.
• आर्मी इंस्टीट्यूट ऑफ फिजिकल ट्रेनिंग (एआईपीटी), हदपसार
• आर्मी इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एआईटी)

उच्च शिक्षा के संबंध में महापुरुषों के अनमोल कथन Great men’s quotation on higher education

शिक्षा हमारे समाज की आत्मा है जो कि एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी को दी जाती है।” – जी.के.चेस्तेरसन

“Education is simply the soul of a society as it passes from one generation to another.”- G. K. Chester son

“शिक्षा की जड़ें कडवी हैं लेकिन फल बहुत ही मीठा है।” – अरिस्तु

“The roots of education are bitter, but the fruit is sweet.”- Aristotle

 “बिना शिक्षा प्राप्त किये कोई व्यक्ति अपनी परम ऊँचाइयों को नहीं छू सकता।”- होरेस मैन

“A human being is not attaining his full heights until he is educated.”- Horace Mann

“शिक्षा स्वतंत्रता के स्वर्ण द्वार खोलने के कुंजी है।” -जार्ज वाशिंगटन करवर

“Education is the key to unlock the golden door of freedom.” -George Washington Carver


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